📣 बिंदास बोल न्यूज़ – कानपुर की ग्राउंड रिपोर्ट
🖋️ रिपोर्टर – बिंदास संवाददाता
📍 लोकेशन – तहसील परिसर, कानपुर
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🔥 "परिषद के आदेश नहीं मानते, तो ट्रांसफर ऑर्डर क्यों मानते हो?"
ADM Finance के बयान से फूटा 31 सीजनल अमीनों का गुस्सा!
शासनादेश की खुलेआम अनदेखी, लटक रहा गरीब कर्मचारियों का भविष्य!
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🛑 शासनादेश आया, लेकिन अमल नहीं!
13 मई 2025 को राजस्व परिषद, उत्तर प्रदेश ने आदेश जारी किया —
> "राजस्व अमीन के रिक्त पदों के 35% पर सीजनल अमीनों को समायोजित किया जाए।"
🔹 कानपुर में 90 पद रिक्त,
🔹 नियम के मुताबिक 32 सीजनल अमीनों को मिलनी थी पक्की नौकरी।
लेकिन ADM Finance, कानपुर का चौंकाने वाला बयान सामने आया —
> “मैं अपनी कलम नहीं फंसाऊंगा... अभी तक किसी जिले में नहीं हुआ है।”
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⚡ अफसरशाही के खिलाफ अमीनों का सवाल –
> "जब ट्रांसफर का ऑर्डर आता है तो आप तुरंत बैग उठाकर चल देते हैं,
लेकिन 31 गरीब अमीनों की फाइल पर आपकी कलम कांपने क्यों लगती है?"
> "अगर ADM साहब को शासनादेश से कोई लेना-देना नहीं,
तो फिर ट्रांसफर, प्रमोशन और तनख्वाह किस आधार पर लेते हैं?"
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😢 कुछ अमीन इंतजार में दुनिया छोड़ गए...
इन 31 अमीनों में से कुछ अब इस दुनिया में नहीं हैं।
लेकिन जाते-जाते सिर्फ एक ही उम्मीद छोड़ गए —
> “कभी तो आदेश आएगा... कभी तो परमानेंट होंगे...”
आज उनके परिवार बस दीवार पर टंगी तस्वीरों को देख रहे हैं —
और सिस्टम की बेरुख़ी को।
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😠 अमीनों का साफ कहना है — ये सीधी-अवैध अनदेखी है!
> “अगर परिषद का आदेश अफसरों के लिए मज़ाक बन गया है,
तो फिर आम आदमी कानून पर कैसे यकीन करेगा?”
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📢 अमीनों की चार मांगें – साफ़ और सीधी
1️⃣ ADM Finance द्वारा आदेश पर तुरंत अमल शुरू कराया जाए
2️⃣ शासन, DM को स्पष्ट निर्देश दे
3️⃣ आरक्षित वर्ग के खाली पदों का De-reservation हो
4️⃣ 31 पात्र सीजनल अमीनों का तत्काल समायोजन हो
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🔍 अब सबसे बड़ा सवाल —
> "जब सरकारी अफसर ही सरकार के आदेश न मानें,
तो क्या संविधान सिर्फ किताबों तक सीमित रह जाएगा
📍 बोलो कानपुर! क्या ये अन्याय नहीं है? क्या अब भी खामोश रहोगे?
📣 बोलो, बिंदास बोल — क्योंकि सवाल जनता का है!
🖊️ रिपोर्ट – बिंदास बोल न्यूज़ टीम, ज़मीन से जुड़ी रिपोर्टिंग के साथे